PF पर ज्यादा ब्याज और 5000 रुपए हो सकती है EPS पेंशन

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केंद्र सरकार कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) को संगठित और असंगठित क्षेत्रों में काम करने वाले लोगों के लिए ज्यादा फायदेमंद बनाए जाने पर विचार कर रही है। संसदीय समिति द्वारा गठित लेबर पैनल आज PF पर ज्यादा ब्याज दिलाने और EPS (Employees Pension Scheme) के तहत मिलने वाली न्यूनतम पेंशन को 5000 रुपए मासिक करने का फैसला ले सकती है। तीन सदस्यीन लेबर पैनल इस पर विचार कर रहा है। आज होने वाली इसकी बैठक में 10 खरब रुपए के कोष का प्रबंधन, प्रदर्शन और निवेश पर विचार-विमर्श होगा। पैनल के सदस्य कोरोना वायरस और कोरोना लॉकडाउन के चलते EPFO कोष पर पड़े प्रभाव का भी आकलन करेंगे। सूत्रों के मुताबिक, पैनल आज की बैठक में कर्मचारियों की पेंशन योजना के तहत न्यूनतम मासिक राशि को बढ़ाकर 5000 रुपए करने पर विचार कर रहा है। कई ट्रेड यूनियन और श्रमिक संगठन पिछले कुछ समय से पेंशन की राशि बढ़ाने पर विचार कर रहे हैं। केंद्र सरकार का लक्ष्य भी असंगठित श्रमिकों को बुढ़ापे में सामाजिक सुरक्षा प्रदान करना है।

ईपीएफओ ने साल 2019-20 के लिए कर्मचारी भविष्य निधि (EPF) पर 8.5 प्रतिशत ब्याज तय किया है, यह पिछले पांच सालों में सबसे कम है। इसके चलते अब इस ब्याज दर को भी बढ़ाने की तैयारी चल रही है। अगर पैनल अपनी रिपोर्ट में ज्यादा रिटर्न दिलाने वाली जगह पर निवेश करता है तो इसका फायदा कर्मचारियों को मिलेगा। कर्मचारियों के लिए 2020-21 की ब्याज दर दिसंबर-जनवरी में तय होगी। उससे पहले इस पैनल की सिफारिशों पर ध्यान दिया जाएगा। यह लेबर पैनल संसद के शीतकालीन सत्र में अपनी रिपोर्ट पेश करेगा। इसके पहले EPF कोष से कई मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। पैनल के सदस्यों ने श्रम मंत्रालय के प्रतिनिधियों को दूसरे देशों में संगठित और असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के लिए किए गए प्रावधानों का ब्योरा भी दिया है।